जब आदिल खां बीजापुरी ने जहांगीर को भेजा 151 रत्ती का नीलम
जब आदिल खां बीजापुरी ने जहांगीर को भेजा 151 रत्ती का नीलम
आदिल खां बीजापुरी ने जहांगीर को उसके 12वें साल-ए-जलूस में एक नीलम भेजा था, जो वजन में छह छटांक और सात सुर्ख (151 रत्ती) था और उसकी कीमत एक लाख रुपये थी। जहांगीर लिखता है कि इतना बड़ा नफीस, खुशरंग और शादाब नीलम कभी पहले नजर से नहीं गुजरा (तज० जहां० पृ० 199)।
जहांगीर को एत्मादउलदौला ने उसके 13वें साल-ए-जलूस में एक नीलम दिया था जिसकी नफासत जहांगीर को बहुत पसंद आई थी (तज० जहां० पृ० 239)। औरंगजेब के खजाने में मोतियों और नीलम का एक हार था। हर मोती दस-दस बारह-बारह रत्ती का था। बीच में एक नीलम था, जिसका वजन 40 रत्ती था।
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